कोलकाता: ममता बनर्जी ने खुलेआम खेल दिया बांग्ला कार्ड, अब क्या करेगी BJP? नहीं देखा होगा दीदी का ऐसा रूप
महाराष्ट्र में छिड़े हिंदी-मराठी भाषा विवाद के बीच पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने सोमवार को बांग्ला कार्ड खेला। ममता बनर्जी बीजेपी शासित राज्यों में बंगाली बोलने वाले प्रवासियों का मुद्दा उठाया। कोलकाता में आयोजित टीएमसी की शहीद दिवस रैली वह रौद्र रूप में नजर आईं। उन्होंने कहा कि हम सभी भाषाओं को प्यार करते हैं चाहे वह हिंदी हो, गुजराती हो, मराठी हो, राजस्थानी हो। ममता बनर्जी ने कहा कि पश्चिम बंगाल के लोगों ने स्वतंत्रता आंदोलन में बड़ी भूमिका निभाई थी। आजादी का लड़ाई में बांग्ला का इस्तेमाल हुआ। नवजागरण में इस्तेमाल हुआ। पश्चिम बंगाल के लोग जो कर सकते हैं, वह कोई और नहीं कर सकता। ममता बनर्जी ने गुस्से में पूछा कि आप बंगाली भाषा पर संताप (हमला) क्यों कर रहे हैं? ममता बनर्जी ने कहा कि अगर बंगाली बोलने वालों को दूसरे राज्यों में अरेस्ट किया गया तो मैं चुप नहीं रहूंगी। दिल्ली से लडूंगी। ममता बनर्जी ने भाषा आंदोलन शुरू की अपील की।
बांग्ला को निशाना बनाने का आरोप
ममता बनर्जी का यह बयान ऐसे वक्त पर सामने आया है कि जब वह बंगाल के प्रवासी मजूदरों को बीजेपी शासिक राज्यों में अरेस्ट किए जाने को लेकर हमलावर हैं। पिछले दिनों उन्होंने इसके खिलाफ कोलकाता में मार्च किया था। ममता बनर्जी ने एक अलग अंदाज में दिखीं। उन्होंने कहा कि वे सभी भाषाओं को प्यार करती हैं लेकिन उन्होंने बांग्ला भाषा को टारगेट किए जाने का आरोप लगाकर शहीद दिवस की रैली में बांग्ला कार्ड खेल दिया। कार्यक्रम में टीएमसी सांसद अभिषेक बनर्जी ने ऐलान किया कि वे संसद में बंगाली भाषा में बोलेंगे। देखते हैं उन्हें कौन रोकेगा? टीएमसी की शहीद दिवस की रैली में पहलगाम आतंकवादी हमलों के शिकार बितान अधिकारी के बुजुर्ग माता-पिता और ऑपरेशन सिंदूर के दौरान शहीद हुए झांटू अली शेख के पिता मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ मंच पर मौजूद रहे।
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